गुज़रा हुआ वक़्त भुला नहीं पाते इंसान गुज़रा हुआ वक़्त भुला नहीं पाते इंसान
मजबूर हालात छोड़कर वर्तमान की राह चलना है! मजबूर हालात छोड़कर वर्तमान की राह चलना है!
गीत लिखेंगे गीत लिखेंगे
कहाँ लुप्त हो गई हैं वह हस्तियाँ सांझे होते थे जिनसे सुख-दुख और मस्तियाँ। कहाँ लुप्त हो गई हैं वह हस्तियाँ सांझे होते थे जिनसे सुख-दुख और मस्तियाँ।
वो मिलकर साथ गिल्ली-डण्डा और क्रिकेट खेलना, याद आज भी हमको आ जाता है, तेरी यादें हमको आज भी सुकून ... वो मिलकर साथ गिल्ली-डण्डा और क्रिकेट खेलना, याद आज भी हमको आ जाता है, तेरी याद...
आज भरोसे से कह सकता हूँ हमारे बुरे कर्म ही ये सब करवाते हैं ।। आज भरोसे से कह सकता हूँ हमारे बुरे कर्म ही ये सब करवाते हैं ।।