रोटी तस्वीर दो सिक्कों खाली हाथों कहानी घर बीमार सिक्के श्रेष्ठ कंधे किल्लत हड्डी "तुम जिसे अपनी सफलता कहते हो और जिसका बखान करते थकते नहीं हो दरअसल वह तुम्हारा बेरंग और निष्ठुर होना है" (अपनी इसी कविता से)

Hindi थकते Poems