इनायतें
इनायतें
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निभा नहीं सकते जिसे तुम
ऐसे वादे मत करना, कभी भी बातें अपनी औकात से
ज्यादा मत करना।
तमन्ना रखते हो अगर आसमान छूने की, दूसरों को
गिराने के इरादे मत करना।
भला नहीं कर सकते किसी का तो
बुराई भी मत करना,
इंसान हो अगर तुम इंसानियत से नफरत मत करना।
सर झुका नहीं सकते बुजुर्गों के आगे तो उनका तिरस्कार
मत करना, इज्जत दे नहीं सकते अगर तुम किसी को तो बेइज्जत मत करना।
दया भाव अगर रख नहीं सकते किसी से, तो अंगारों की बरसात मत करना।
जो जन्मा है वो मर मिट जाएगा इक दिन सुदर्शन,
ज्यों ही दुश्मनी मोल ले कर
जिंदगी बर्बाद मत करना।