धरा
धरा
इस धरा का इस धरा पर सब धरा रह जायेगा
क्यूँ करता तू इतनी भगदड़ सब धरा रह जायेगा
एक पहर जो हरि भजेगा
इस धरा का इस धरा पर सब धरा रह जायेगा
क्यूँ करता तू इतनी भगदड़ सब धरा रह जायेगा
एक पहर जो हरि भजेगा मोक्ष परम सुख पायेगा
इतना धन तू कमा रहा है साथ ना कुछ भी जायेगा
दो पल अपनों को भी दे दे खुशियां बहुत जुटायेगा
मीठी बोली मुख में धर ले सम्मान बहुत कमायेगा
द्वेष भावना दूर जो कर ले जीवन सफल बनायेगा
जैसा जो कुछ कर्म करेगा वैसा ही फल पायेगा
बाकी इस धरा का इस धरा पर सब धरा रह जायेगा।
