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Chandramohan Kisku

Others

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Chandramohan Kisku

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ब्याह न दो बाबा कच्ची उम्र में

ब्याह न दो बाबा कच्ची उम्र में

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घर की भेड़ - बकरियों को 

बेच कर 

टोले-मोहल्ले में ऋण और उधार कर

जंगल-पहाड़ के पार 

नदी-नालों के पार

बहुत दूर 

मुझे ब्याह न दो बाबा 

जहाँ जाने के लिए भी बाबा 

बेचने होंगे तुम्हे भेड़-बकरियां

भेड़-बकरियों को चराते हुए 

भात की फेना पी कर 

भाइयों के कपड़े में ही 

मैं जाऊँगी बाबा 

पाठशाला

मुझे ब्याह न दो बाबा 

कच्ची उम्र में...


मेरे भी तो मन में 

सपने है 

आसमान में उड़ने की 

सर ऊँचा कर जीने की 

तुम्हारी इज्जत बढ़ाने की 

बाबा, मुझे विदा न करो 

कच्ची उम्र में...


कॉपी खरीदने के लिए 

पैसा न होने पर भी 

मेरे लिए कपड़े

खरीद न पाने पर भी 

भाइयों के किताब से ही 

पुराने कपड़े पहनकर ही 

भात की फेना पीकर बाबा 

मैं जाऊँगी पढ़ने 

कच्ची उम्र में बाबा 

मुझे ब्याह न दो...


विश्वास करो बाबा 

पढ़ने में आलस नहीं करुँगी  

सबसे श्रेष्ठ बनूँगी 

जाति और समाज के लिए 

काम करुँगी 

नाम तुम्हारा चमकाऊँगी  

इज्जत तुम्हारी बढ़ाऊंगी

सर ऊँचा कर रहना 

मुझे ब्याह न दो बाबा 

कच्ची उम्र में...


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