संतोषी आदमी की भूख चींटी से छोटी होती है।
पहली महिला पीछे वाली सीट पर बैठे हुए भद्र व्यक्ति से 'उधर सरक'
जैसे ऋतु के साथ सब कुछ चला गया हो, सब सूना हो गया हो। शायद रवि को ऋतु से प्यार हो गया था।
क्या सच में उसका रविवार कभी नहीं आएगा। क्या कोई दिन ऐसा नहीं होगा जो उसकी भी छुट्टी का दिन होगा। "प्रिया, प्रिया बहू।"
कहते हुए उसके गले लग गए, थोड़ी देर बाद सास-ससुर को कहते हुए सुना आज बहु ने बहुत अच्छा खाना बनाया था......
आयु एक संस्था में लग गई, जो हर किसी की मदद में सबसे आगे रहता था। चाहे वो घरेलू हिंसा से पीड़ित हो या दहेज से। आयु अपने सा...