सोना है भारत की भूमि।। सोना है भारत की भूमि।।
राष्ट्र बिन न होता आसमाँ, न होती जमीं है।। राष्ट्र बिन न होता आसमाँ, न होती जमीं है।।
एक धमाका हुआ कुछ लोग निंदा कर रहे हैं कुछ कड़ी निंदा कर रहे हैं। एक धमाका हुआ कुछ लोग निंदा कर रहे हैं कुछ कड़ी निंदा कर रहे हैं।
रक्तरंजित धरा, सुलगती हवा दावानल दिलों में दहला हुआ कहीं नफरत, स्वार्थ की आग आरोप-प्रत्यारोप के ... रक्तरंजित धरा, सुलगती हवा दावानल दिलों में दहला हुआ कहीं नफरत, स्वार्थ की आग ...