अमीरों से अपनी बनती नहीं है गरीब ही मुझे दुलारे लगते है एक तरफ कुत्तो को पालना अमीरों से अपनी बनती नहीं है गरीब ही मुझे दुलारे लगते है एक तरफ कुत्तो को...
हम गलियों के बाशिऩदे, पहचान फ़कीरी बसती है आँखों में, हमदर्दी की अमीरी हम गलियों के बाशिऩदे, पहचान फ़कीरी बसती है आँखों में, हमदर्दी की अमीरी
बीज हरजगह मौजूद है और किसी भी समय प्रस्फुटित हो जाता है यह बीज हरजगह मौजूद है और किसी भी समय प्रस्फुटित हो ...
दौलत, शोहरत हमारा हाथ चूमेगी पैसो का हम महल बनाएंगे, देखते जाओ दौलत, शोहरत हमारा हाथ चूमेगी पैसो का हम महल बनाएंगे, देखते जाओ
और जो मूर्ति बनाकर पूजता है तेरी, उसे सड़को पर रहते देखा हैं।। और जो मूर्ति बनाकर पूजता है तेरी, उसे सड़को पर रहते देखा हैं।।
बाप अपनी गरीबी के किस्से अक्सर लोगों को सुनाता है । बाप अपनी गरीबी के किस्से अक्सर लोगों को सुनाता है ।