व्यापार शब्दों का
व्यापार शब्दों का
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सुना है शब्दों का व्यापार
खूब फल फूल रहा है
सब धंधों पर लगी जी एस टी
ये बिन टैक्स के चल रहा है।
नज़र आए न चोरों को
इन्हें तिज़ोरी विच छुपा लो
अनमोल होते हैं शब्द इनसे
चाहे साहित्य महल बना को।
शब्द होते अति ताकतवर
इनकी शक्ति को पहचानो तुम
एक शब्द भरे ज़ख्म यदि
एक शब्द कटारी जानो तुम।
सोच समझ अपनाओ इनको
व्यवहार अलग है इनके भी
समय देख चलते चाल ये
रूप बदलते इनके भी।
शब्दों के इस चक्रव्यूह से
खुद को तुमने जो बचा लिया
समझो पाई जय जग में तुमने
मन अपना नाम कमा लिया।
