टूटे ख्वाबो में
टूटे ख्वाबो में
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टूटे ख्वाबो में,
ज़िंदा हूँ कहीं मैं,
बेबसी के आलम में,
जिये जा रहा हूँ कहीं मैं।
तनहा भी रहूं तो,
शौक़ से जियूँ मैं,
ज़िन्दगी कि तरह,
तुम बदल जाना,
कहीं याद आए तेरी,
तो मौत से गुजर जांऊ मैं।
