शिवमय सृष्टि
शिवमय सृष्टि
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आत्ममंथन की रात्रि,
करने चला है हर यात्री,
हर हर महादेव का मंत्र,
धारण कर रहा है हर भक्त,
कल्याणकारी शिव का मिलन,
शक्ति की स्त्रोत देवी मां के साथ गठबंधन,
हर ओर व्याप्त है
शिवमय सृष्टि की दृष्टि,
हर प्राणी भावविभोर है मन ही मन,
शिव और शक्ति की भक्ति में संलग्न,
अपने जीवन को कल्याणकारी गंतव्य तक
पहुंचाने के लिए हर जीवन यात्री,
तन, मन,धन अपना सर्वस्व शिव को अर्पण
करता है हर महाशिवरात्रि।