फिल्मों के अहसासों से जीवित रीत
फिल्मों के अहसासों से जीवित रीत
काटे नहीं कटते लम्हे इंतज़ार के,
नजरें बिछाए बैठे हैं रस्ते पे यार के,
दिल ने कहा देखे जो जलवे हुस्न-ए-यार के,
लाया है उन्हें कौन फलक से उतार के।
~ फिल्म- हम आप के है कौन
मैं और मेरी तन्हाई ,
अक्सर यह बातें करते हैं ,
तुम होती तो कैसा होता ,
तुम ये कहती ,
तुम वो कहती ,
तुम इस बात पे हैरान होती ,
तुम उस बात पे कितनी हंसती ,
तुम होती तो ऐसा होता ,
तुम होती तो वैसा होता ,
मैं और मेरी तन्हाई
~फिल्म- सिलसिला
फूल खिलते हैं बहारों का समा होता है,
ऐसे मौसम में ही तो प्यार जवां होता है,
दिल की बातों को होंठों से नहीं कहते,
ये फ़साना तो निगाहों से बयाँ होता है।
~फिल्म- सरफ़रोश
एक पल में जो आकर गुजर जाये,
ये हवा का वो झोंका है और कुछ नहीं,
प्यार कहती है दुनिया जिसे,
एक रंगीन धोखा है और कुछ नहीं।
~फिल्म- दिलजले
सारे जहां का दर्द समेट कर,
जब कुछ न बन सका तो,
उसने तुम्हारी यह दो आँखें बना दी।
~फिल्म- राज़
नसीब अच्छे ना हुआ तो खूबसूरती का क्या फ़ायदा
दिलों के शहंशाह अक्सर फकीर हुआ करते हैं
~फिल्म- वन्स अपॉन ए टाइम इन मुंबई
एक तरफा प्यार की ताकत ही
कुछ और होती है,
और रिश्तों की तरह ये दो लोगों में नहीं बंटती,
इसमें सिर्फ मेरा हक है।।
~फिल्म- ऐ दिल है मुश्किल
