पापा की लाडली
पापा की लाडली
जब प्यारी सी बिटिया ने
खूबसूरत दुनिया में जन्म लिया
और पापा ने गोद उठाया
तो दुनिया वालों ने दिए ताने कहा
मुबारक हो
लक्ष्मी आयी है लक्ष्मी ले कर जाएगी
पापा भी मुस्कुरा कर बोले
ये तो मेरा जिगर का टुकड़ा है
मेरा मान है
लाड़ली है ये मेरी
आपका धन्यवाद लक्ष्मी कहने के लिए
आज़ आप सब के सामने वादा लेता हूँ
हर पल इसके साथ रहूँगा
कभी अकेला नहीं छोड़ूँगा
क्यूंकी ये पापा की है लाडली
जिनकी उँगली थाम के बिटिया ने
चलना सिखा
उनकी प्यार भरी छाँव में दौड़ना भी सीखा
हर हार - जीत पर पापा का हाथ थाम
उनके वादे पर भरोसा कर आगे बढ़ना सिखा
ख़ुशी- ख़ुशी जीवन में अंधे दौड़ में
खुद को गुमा दिया
अचानक पापा की लाड़ली से
पापा की उँगली दूर हो गयी
इसका अहसास जब हुआ
तो पापा को और उनके प्यार की छाँव को ढूँढा
ज़िंदगी का नज़म देख और समझ पाती
इससे पहले ही
पापा ने अपनी लाडली का हाथ
चुपके से बिना कुछ बोले हमेशा के लिए छोड़ दिया
अपनी लाडली से किए वादे से पापा ने मुँह मोड़ लिया
उसी उधेड़बुन में चलने लगी अब ज़िंदगी
-कौन थामेगा उसे गिरने पर
तभी दिल ने दर्द भरी आवाज़ लगायी
पापा अब बस हुआ
एक बार आ कर फिर से थाम लो
अपनी लाडली का हाथ
और कह दो दुनिया वालों से
अकेली नहीं मेरी गुड़िया
पापा हमेशा इसके हैं साथ
इसके हैं पास
क्यूंकी ये पापा की लाडली जो है