कर दो कुछ तो रहम जमाने वाले
कर दो कुछ तो रहम जमाने वाले
कर दो कुछ तो रहम जमाने वालों।
जलते हुए चिरागों को बुझाने वालोंं ।
पर कटे परिंदों को उड़ाने वालोंं ।
सोते का गला दबाने वालों।
जीवों को जिंदा जलाने वालों।
मुर्दों का कफन चुराने वालों।
भरी झील को सुखाने वालों।
सच्चाई से मुंह छिपाने वालों।
झूठ का साथ निभाने वालों।
गुलशन में आग लगाने वालों।
बहू बेटियों को जलाने वालों।
बरबादियों पर जश्न मनाने वालों।
दरिंदगी की हर हद को छू जाने वालोंं।
दुख पीड़ा में मुस्कुराने वालों।
राह में कांटे बिछाने वालों।
तैरते हुए को डुबाने वालों।
अपने ही घर में रहकर
अपने ही घर को
आग लगाने वालोंं
कर दो कुछ तो रहम जमाने वालों।
जलते हुए चिरागों को बुझाने वालोंं
