STORYMIRROR

manisha suman

Others

2  

manisha suman

Others

ज़िंदगी

ज़िंदगी

1 min
299


कुछ अटपटी सी अनमनी सी है जिंदगी,

हकीकत है या ख्वाब है जिंदगी,

जिंदगी कोई खेल भी नहीं यारों

हाथ की लकीरों में छुपी तदबीर है जिंदगी।


जिंदगी असाँ नहीं जीने को,

मुश्किलों से लड़ा रात सफीनों से,

जिंदगी के सफर में हौसला डगमगाया,

पर कदमों को हर बार आजमाया।



Rate this content
Log in