अनकहे रिश्ते
अनकहे रिश्ते
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कभी रूठते हैं हम, कभी मनाना पड़ता है।
न चाहते हुए दिल, कभी दुखाना पड़ता है।।
हर क़दम पर वक्त कभी एक-सा रहता नहीं
ख़ुद उलझनों में रह कर सुलझाना पड़ता है।।
बड़े ख़ुशनसीब होते हैं, कुछ अनकहे रिश्ते
जहां कभी भी न कुछ हमें समझाना पड़ता है।।
