लेखनी से प्रेम कलम की आवाज़
जीत पास आ रही चुनाव को करो सही।। जीत पास आ रही चुनाव को करो सही।।
बदली जग की कार्य प्रणाली, बदला हर इंसान है। बहरा आतुर सुनने बैठा , सुनने में बेजान। बदली जग की कार्य प्रणाली, बदला हर इंसान है। बहरा आतुर सुनने बैठा , सुनने मे...
कृष्ण मुझ में रमे, श्याम रमता रहे। कृष्ण मुझ में रमे, श्याम रमता रहे।
मानवता के पथ पर साथी, चलो आज मिल साथ चलें। मानवता के पथ पर साथी, चलो आज मिल साथ चलें।
इंद्रिय सारी लगी हुईं नित, भोग-भाव की लोलुपता में इंद्रिय सारी लगी हुईं नित, भोग-भाव की लोलुपता में
गण नाथ पशुपति सूक्ष्मतनु गिरि सोम शिव भव भूषणं।। गण नाथ पशुपति सूक्ष्मतनु गिरि सोम शिव भव भूषणं।।
इंकलाब बोल कर, झूल गया फाँसी पर, क्रांति रूपी काल बना, तुझको नमन है ,! इंकलाब बोल कर, झूल गया फाँसी पर, क्रांति रूपी काल बना, तुझको नमन है ,!
अखबारों ने आज कहा कि कल कत्ल चौराहे पर सर-ए-आम हुआ। क्या लोग अंधे थे वहाँ पर जो यह खून अखबारों ने आज कहा कि कल कत्ल चौराहे पर सर-ए-आम हुआ। क्या लोग अंधे थे वहाँ पर ...
प्रकृति संतुलन पर कभीं, आये नहीं प्रभाव। प्रकृति संतुलन पर कभीं, आये नहीं प्रभाव।
फिर द्रुम दलों ने मरु धरा को कब किया परमार्थ है। फिर द्रुम दलों ने मरु धरा को कब किया परमार्थ है।