वह अपने सभी दुःखों को भूल गई, उसकी सारी पीड़ा न जाने कहाँ चली गई। वह अपने सभी दुःखों को भूल गई, उसकी सारी पीड़ा न जाने कहाँ चली गई।
अभी अभी आकर आगे बढ़ रहे शव को देखकर एक युवा मुर्दा कुनमुनाया अभी अभी आकर आगे बढ़ रहे शव को देखकर एक युवा मुर्दा कुनमुनाया
नहीं………लेकिन कुछ तो करना चाहिए हमें………." अजीत चिंतित स्वर में बोला नहीं………लेकिन कुछ तो करना चाहिए हमें………." अजीत चिंतित स्वर में बोला
ये ख़याल उसे सोचने पर मजबूर कर रहा है, के क्या ये ज़रूरी है के वो अपने बेटे को ये नर्क जैसी ज़िंदगी ... ये ख़याल उसे सोचने पर मजबूर कर रहा है, के क्या ये ज़रूरी है के वो अपने बेटे को य...