उम्मीद तो हमें हर वक्त रब से है। कभी देखा था पेड़ की शाख हिलते उम्मीद तो हमें हर वक्त रब से है। कभी देखा था पेड़ की शाख हिलते
तुम्हारे होने से ही मन में सुकून और चेहरे में नूर है तुम्हारे होने से ही मन में सुकून और चेहरे में नूर है