देर हो गयी बहुत अभी भी लम्हे बाक़ी हैं थाम लो, इन्हें तुम थाम लो। देर हो गयी बहुत अभी भी लम्हे बाक़ी हैं थाम लो, इन्हें तुम थाम लो।
अपनों को खो कर खुद को यूँ तोड़ कर। अपनों को खो कर खुद को यूँ तोड़ कर।
रिमझिम रिमझिम बारिश की बूंदें एक मीठा गीत सुनाती हर राग द्वेष को भुलाती रिमझिम रिमझिम बारिश की बूंदें एक मीठा गीत सुनाती हर राग द्वेष को भुलाती
प्राकृतिक सौंदर्य खत्म हो रहा है क्यूँकि ध्वनि प्रदूषण बढ़ता जा रहा है। प्राकृतिक सौंदर्य खत्म हो रहा है क्यूँकि ध्वनि प्रदूषण बढ़ता जा रहा है।
अगर चाहिए प्रदूषण मुक्त वातावरण तो रखिए औद्योगिक विकास और प्रकृति में संतुलन। अगर चाहिए प्रदूषण मुक्त वातावरण तो रखिए औद्योगिक विकास और प्रकृति में संतुलन।
टिप टिप बारसा पानी, देखो आ गयी वर्षा रानी। टिप टिप बारसा पानी, देखो आ गयी वर्षा रानी।