यह है आज की दुनिया टेक्नोलोजी के साथ । यह है आज की दुनिया टेक्नोलोजी के साथ ।
प्रिय सखियों तो क्या हुआ हम रूबरू ना मिले। आखिर हमने तुमको ढूंढ ही लिया 40 साल बाद। प्रिय सखियों तो क्या हुआ हम रूबरू ना मिले। आखिर हमने तुमको ढूंढ ही लिया 40 स...
हम मनोहर दूरवर्ती, कार्यक्रम चलाएं। अपने सभी बच्चों का,हम सब ग्रुप बनाएं। हम मनोहर दूरवर्ती, कार्यक्रम चलाएं। अपने सभी बच्चों का,हम सब ग्रुप बनाएं।
स्कूल में अपना अपना ग्रुप बनाते थे और दूसरे ग्रुप को देख, बिना मतलब ठहाके लगते थे स्कूल में अपना अपना ग्रुप बनाते थे और दूसरे ग्रुप को देख, बिना मतलब ठहाके ...
चारों तरफ़ से बंद हो गये द्वार अब घर से सम्भालना कारोबार। चारों तरफ़ से बंद हो गये द्वार अब घर से सम्भालना कारोबार।
अक्सर नहीं हँसता हूँ मैं सुर में सुर मिलाने को. अक्सर नहीं हँसता हूँ मैं सुर में सुर मिलाने को.