प्रेम नहीं है सुखद मार्ग
प्रेम नहीं है सुखद मार्ग
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हे! आलि, अनुपम अटल सत्य,
कर्तव्य-कठिनता युक्त कृत्य।
यह प्रेम नहीं है सुखद मार्ग,
कंटकाकीर्ण है और अद्य।।
कुछ सरल मिलें तो मिले चतुर,
कुछ दिखें हंस पर कागासुर।
कभी शक्ति दिखे पर फंसे टांग,
यह प्रेम नहीं है सुखद मार्ग।।
