STORYMIRROR

Karan Mistry

Others

3  

Karan Mistry

Others

महाकाल

महाकाल

1 min
333

उस रास्ते की परवाह ही क्या जहां मेरा महाकाल है

भभूत अघोरी की छाँव में परमशान्ति की महाल है


शिव का सत्य है जहां अंतरात्मा की खोज है

ना सुनो उसकी तो पूरे जगत का हाहाकार है


राख भभूति में लिपटे हम खुद ही एक वैराग है

हमे खाख करे ऐसी हिमालय की कहाँ मजाल है


क्यूँ डरे हम दुखों से जहां आदिनाथ खुद साथ है

भक्त है हम महादेव के मृत्यु जिसका अकाल है


Rate this content
Log in