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मेरे आँगन का फ़ूल

मेरे आँगन का फ़ूल

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तू फ़ूल मेरे आँगन का

हौसला मेरे मन का

जब से तू खिला, मेरे आँगन में

एक ख़ुशी रहती है जीवन में,

जाने कैसी ऊर्जा है अब मुझमें

हर पल रहती हूँ उमंग में


मेरी ऊँगली पकड़ के,

चल दे तू आँखें मूँदे

हर क़दम पे, तू मेरा साया ढूंढे

मैं न दिखूँ, तू पल में रो दे

फिर हँसे तू, मुझमें उमँग भर दे

तू फ़ूल मेरे आँगन का

हौसला मेरे मन का 


तेरी कोई उलझन हो,

मेरे पास हल हो

कोई दर्द हो,

तू मुझमें दवा ढूंढे

तू फ़ूल मेरे आँगन का,

हौसला मेरे मन का


एक दिन तू बड़ा हो जायेगा

अपने रास्ते खुद बनायेगा

हर क़दम पे तुझे मेरी ज़रूरत न हो

शायद मेरे पास तेरी हर मुश्किल का हल न हो

पर मेरी दुआओं में तेरा नाम

सबसे पहले आएगा

हर साँस के संग तेरी ख़ुशी का ख्याल आयेगा

तूने जीने की वजह दी है

मेरी ज़िन्दगी नए रंग से भर दी है

तुझे जीना सीखा दूँ,

ख़ुदा मुझे वो रहमत दे

जब भी गिरे तू,

खड़े होने की तुझे ताकत दे


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