खुशियों की उड़ान
खुशियों की उड़ान
बेटी जब होश
संभालती है
स्वछंद उड़ान
भरना चाहती है
पापा मम्मी
दादा दादी
भाई बहन के
साथ घर मे
खुशी से रहती है
नाना नानी
मामा मामी के
घर भी रहना
चाहती है
हमजोली
बच्चों के साथ
खेलकर खुश
रहना चाहती है
खुशियों की
उड़ान भरना
चाहती है
पापा मम्मी के
पास तो बच्चे
हमेशा ही रहते हैं
स्कूल की छुट्टियों
मे जरूर बाहर
घूमना चाहते हैं
पापा को तो
जल्दी छुट्टियाँ
मिलती नही है
मम्मी के साथ ही
पहले दादा दादी
के घर जाते हैं
दादा दादी
चाचा चाची और
उनके बच्चो के
साथ खूब खेलते
मौज मस्ती करते हैं
कुछ दिन बाद
नाना नानी
मामा मामी के
घर जाते हैं ।
गर्मी से बचकर
घर के अन्दर ही
कभी कैरम कभी
साँप सीढ़ी
खूब खेलते हैं
कभी वि डी ओ
गेम खेलते हैं
बच्चों की पिक्चर
टी वी मे देखते हैं
कभी डाँस की
कभी ड्राइंग की
प्राक्टिस भी सब
मिलकर करते हैं
बस इस तरह सब
बच्चे मिलकर
खुशियों की
उड़ान भरते हैं ।