Turn the Page, Turn the Life | A Writer’s Battle for Survival | Help Her Win
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Gita Parihar

Others

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अजब-गजब

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जब मेघनाद के बाण द्वारा शत्रुघ्न को मूर्छा लगी, तब वैद्य सुषेण के सुझाव के अनुसार

हनुमान जी को संजीवनी बूटी लाने हिमालय भेजा गया। बूटी की पहचान बताई गई कि ये पौधे अंधेरे में भी जगमगाते हैं, उनसे दिव्य रोशनी निकलती है। जब हनुमान जी हिमालय पहुंचे तो उन्होंने देखा कि पूरा पहाड़ ही जगमगा रहा है। असमंजस की स्थिति में वे पूरा पहाड़ ही उखाड़ लाए ।


वहां एक गाँव था। जो आज भी स्थित है। इस गाँव का नाम है द्रोणागिरी। यह उत्तराखंड के चमोली जनपद में स्थित है। इस गाँव में हनुमान जी की पूजा नहीं होती, क्यों ,क्योंकि गाँव के लोग सदियों से पर्वत देवता की पूजा करते थे। 


उनका मानना है कि संजीवनी के साथ हनुमान जी जो पहाड़ उखाड़ ले गए, वह असल में उनके पर्वत देवता ,द्रोणागिरी की एक भुजा थी, इसलिए गाँव के लोग आज तक हनुमान जी की पूजा नहीं करते। 


यहां की रामलीला में भी हनुमान जी का कोई प्रसंग नहीं होता। पूरे गाँव में आपको हनुमान जी की कोई तस्वीर या मूर्ति नहीं मिलेगी।



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