लिखी हैं डायरी में दवाइयों के साथ तमाम असहमतियों की भी एक्सपायरी डेट लिखी हैं डायरी में दवाइयों के साथ तमाम असहमतियों की भी एक्सपायरी डेट
देश -समाज के, संसाधनों के रक्षक हो जाओगे। देश -समाज के, संसाधनों के रक्षक हो जाओगे।
कोई मसक मारे त कोई नर हत्या लेकिन सोर मचा भ्रष्टाचार। कोई मसक मारे त कोई नर हत्या लेकिन सोर मचा भ्रष्टाचार।
दिल तोड़कर बहुरूपिया छुप गए हैं बिल में दिल तोड़कर बहुरूपिया छुप गए हैं बिल में