क्या नशीली आंखें थी उस रिसेप्शनिस्ट की क्या नशीली आंखें थी उस रिसेप्शनिस्ट की
जो कृष्णजी भी राधाजी के नहीं हो पा रहे है। जो कृष्णजी भी राधाजी के नहीं हो पा रहे है।
मैंने भी उसे मक़बरे में तड़पता छोड़ दिया, मैंने भी उसे मक़बरे में तड़पता छोड़ दिया,
एक रोटी खा सब की रोटी का इंतजाम करता है। एक रोटी खा सब की रोटी का इंतजाम करता है।
अपने साथ इसे कहीं भी, ले जाया जाता है। अपने साथ इसे कहीं भी, ले जाया जाता है।
जनसंख्या विश्व की अगर इसी तरह बढ़ेगी। विश्व वृद्धि से पर्यावरण की गति घटेगी। जनसंख्या विश्व की अगर इसी तरह बढ़ेगी। विश्व वृद्धि से पर्यावरण की गति घटेगी।