Richa Baijal
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प्रकृति ने अनगिनत रंग उकेरे है
इक तितली ने अपने पंखों में समेटे हैं
है इतनी नाज़ुक और मखमल सी कोमल
इसकी उड़ान को पकड़ सकना मुमकिन नहीं
मानो या न मानो, तितली -सा खूबसूरत और कोई नहीं।
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