सूरज दादा
सूरज दादा
सूरज दादा प्यारे दादा,
हम को भी बतलाओ ना।
कैसे आ गये हो नभ में,
ये भी तो समझाओ ना।
इतना तेज कहाँ से लाये,
इस का बोध कराओ ना।
जो बिखेरी किरणें तुमने,
इस का राज़ बतलाओ ना।
कहाँ से आते कहाँ को जाते,
हम को ज्ञात कराओ ना।
दिन औ रात तुम कैसे करते,
हम को अब बतलाओ ना।
जितना ज्ञान भरा है तुममें,
हम को भी सिखलाओ ना।
हम ने भी चमकना जग में,
इस का सार बतलाओ ना।
हम हैं बालक नादान तुम्हारे,
हम को मत बहलाओ ना।
ज्ञान दिया हनुमान को तुमने,
हम को भी दे जाओ ना।
सूरज दादा प्यारे दादा,
हमको भी बतलाओ ना।
कैसे आ गये हो नभ में,
ये भी तो समझाओ ना।