माँ
माँ
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मेरे जीवन का आधार
मेरे सपनों को करती है साकार
न कभी छोड़ें मेरा हाथ
चाहे फिर कोई न दे मेरा साथ
मेरे चेहरे से ही पढ़ लेती
मेरे सुख- दुःख का भाव
मेरी माँ का ऐसा है स्वभाव
मुझे अच्छी- अच्छी बाते समझाती
आज की दुनिया का पाठ पढ़ाती
रुक मत, झुक मत, दब मत
आगे ही आगे बढ़ाए जा कदम
चाहें किसी में हो कितना ही दम
माँ, जब तुम होती हो बीमार
सुना सा लगता है ये संसार
तुम्हारे एक बोल से मेरा दिल हो जाता है खुश
मेरे जीवन का सबसे बड़ा है ये सुख।
