रोज़ बेचते ईमान देखा...! रोज़ बेचते ईमान देखा...!
स्वच्छ राजनीति अपनाकर गन्दी राजनीति जड़ से मिटाता ! स्वच्छ राजनीति अपनाकर गन्दी राजनीति जड़ से मिटाता !
नेताओं के दिखावे के बारे में एक कविता...। नेताओं के दिखावे के बारे में एक कविता...।
राष्ट्रीय आशाओं के ज्योति का एक जेता गया है, जो गया है सचमुच एक नेता गया है।। राष्ट्रीय आशाओं के ज्योति का एक जेता गया है, जो गया है सचमुच एक नेता गया है।।
आओ सबको, मिलकर सिखालायें, सेकुलरिज्म का पाठ। आओ सबको, मिलकर सिखालायें, सेकुलरिज्म का पाठ।