सिर्फ सोचा देश के बारे में, और रातों जगे देश की रक्षा में। सिर्फ सोचा देश के बारे में, और रातों जगे देश की रक्षा में।
हम जिसपर विश्र्वास करते है वह अगर मुश्किल लम्हाें में साथ दे ताे फिर वह साथ अनूठा ही लगता है... है न... हम जिसपर विश्र्वास करते है वह अगर मुश्किल लम्हाें में साथ दे ताे फिर वह साथ अनूठ...
अधमरा सा जिंदगी जी रहा हूँ मैं या सीधे लफ्ज में कहूँ तो चालीस पार कर गया हूँ मैं अधमरा सा जिंदगी जी रहा हूँ मैं या सीधे लफ्ज में कहूँ तो चालीस पार कर गय...