मैं बड़ी होकर मेरा बचपन खो दूंगी, जो वापस कभी नहीं आऐगा। मैं बड़ी होकर मेरा बचपन खो दूंगी, जो वापस कभी नहीं आऐगा।
उमर भर का जो दर्द दिया है तुमने मैं सह रही हूं या सहना चाहती हूं उमर भर का जो दर्द दिया है तुमने मैं सह रही हूं या सहना चाहती हूं