हम कौन हैं ? कैसे हैं ? यह सबको पहचान है। हम कौन हैं ? कैसे हैं ? यह सबको पहचान है।
आई हो तुम जब से नजर, तब से नींद ही नहीं नसीबो में। आई हो तुम जब से नजर, तब से नींद ही नहीं नसीबो में।
कुछ लोग पूरी पूरी जिंदगी गुजार देते है एक दीदार के लिए कुछ लोग पूरी पूरी जिंदगी गुजार देते है एक दीदार के लिए
तर्क की कसौटी पर हर बार कसी जाती हूँ। तर्क की कसौटी पर हर बार कसी जाती हूँ।
जिनकी वजह से आज उस मुक़ाम पर तो हो, जिसमें मुझे लोग देखना नहीं चाहते जिनकी वजह से आज उस मुक़ाम पर तो हो, जिसमें मुझे लोग देखना नहीं चाहते
"मेरी तमाम कमजोरियों के बावजूद मेरा देस मुझे दुलारता है मुझमें मेरा देस बसता है" "मेरी तमाम कमजोरियों के बावजूद मेरा देस मुझे दुलारता है मुझमें मेरा देस बसता ...