दुनिया दिखाती हैं क्या-क्या किस्सा। दुनिया दिखाती हैं क्या-क्या किस्सा।
अब हर शाम इंतज़ार रहता है उसका, पर वो शाम, चुरा ले गया कोई। अब हर शाम इंतज़ार रहता है उसका, पर वो शाम, चुरा ले गया कोई।
किंतु नहीं कसूर मेरा, भगवान भी कहां अभी तक सफल हो पाया। किंतु नहीं कसूर मेरा, भगवान भी कहां अभी तक सफल हो पाया।
कैसे बिताएंगे किसको बताएंगे किससे जताएंगे अपनी मोहब्बत। कैसे बिताएंगे किसको बताएंगे किससे जताएंगे अपनी मोहब्बत।
मात पिता की सेवा कर लो, ले लो खूब दुआएँ मात पिता की सेवा कर लो, ले लो खूब दुआएँ
वो काग़ज़ की कश्ती नदी में बहाना वो अमवा की डाली पे झूला झुलाना वतन.... वो काग़ज़ की कश्ती नदी में बहाना वो अमवा की डाली पे झूला झुलाना वतन....