कुछ देर से भी न मिल सकीं कुछ हालातों के परवान सी चढ़ती रहीं। कुछ देर से भी न मिल सकीं कुछ हालातों के परवान सी चढ़ती रहीं।
एक जन्म में दो कुल को गढ़ती है बेटी एक जन्म में दो कुल को गढ़ती है बेटी