तुझसे मिल ना पाना मेरी खुशनसीबी हमारे बीच में हैं तेरे राज़ ए क़ातिल तुझसे मिल ना पाना मेरी खुशनसीबी हमारे बीच में हैं तेरे राज़ ए क़ातिल
ना भूख की फिक्र ना प्यास का ठिकाना, ऐसा होता है बचपन का प्यारा सा ज़माना। ना भूख की फिक्र ना प्यास का ठिकाना, ऐसा होता है बचपन का प्यारा सा ज़माना।