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एक सुनहरी सुबह सांवली शाम तुम सूना सूना क्यों तेरा संसार है। एक सुनहरी सुबह सांवली शाम तुम सूना सूना क्यों तेरा संसार है।
सच देखते, सच बोलते, सच सुनते अब कहां बापू तेरे बंदर भी वफादार नहीं हैं। सच देखते, सच बोलते, सच सुनते अब कहां बापू तेरे बंदर भी वफादार नहीं हैं।
अच्छे दिन इससे ज्यादा और कैसे आएंगे गाड़ियां हो कैसे में पेट्रोल आये लोन पर। अच्छे दिन इससे ज्यादा और कैसे आएंगे गाड़ियां हो कैसे में पेट्रोल आये लोन पर।
उस मां को किया सलाम उस मां को किया सलाम
अच्छे दिन इससे ज्यादा और कैसे आएंगे अच्छे दिन इससे ज्यादा और कैसे आएंगे
रहना एहसास ज़रूरी है रहना एहसास ज़रूरी है
आज तिरंगे में खु़द ही उस मां को किया सलाम ... आज तिरंगे में खु़द ही उस मां को किया सलाम ...
बेसब्र भूख हो गई वह चोर नहीं थी... रोटी बंधी हुई थी दुपट्टे के छोर से ।। बेसब्र भूख हो गई वह चोर नहीं थी... रोटी बंधी हुई थी दुपट्टे के छोर से ।।
बेसब्र भूख़ हो गई ,वह चोर नहीं थी , रोटी बंधी हुई थी, दुपट्टे के छोर से ।। बेसब्र भूख़ हो गई ,वह चोर नहीं थी , रोटी बंधी हुई थी, दुपट्टे के छोर से ।।
बस्ती जमा हुई थी वहां उसके शोर से बस्ती जमा हुई थी वहां उसके शोर से