आतिशे-संग आतिशे-संग
उष्मा सभर हाथ ने दिल में अपनापन जगाया तो आँखें हंस पड़ी। उष्मा सभर हाथ ने दिल में अपनापन जगाया तो आँखें हंस पड़ी।
मिटा दे बरसो की प्यास, रस दे मुझ नीरस को। मिटा दे बरसो की प्यास, रस दे मुझ नीरस को।
ज़िन्दगी के सफर में अब नहीं बिछड़ना है हमें क्यू की में सांसे और तुम धड़कन बन गई हो एकदूजे के बिना अब ज़... ज़िन्दगी के सफर में अब नहीं बिछड़ना है हमें क्यू की में सांसे और तुम धड़कन बन गई हो...
माँ धारी मन में सथान लिए है, मन चंगा तो कठोती में गंगा। माँ धारी मन में सथान लिए है, मन चंगा तो कठोती में गंगा।
नर्मदा माई हम सबके जिनगी देवे वारी है और तू वा माई की जान बचाई है।” नर्मदा माई हम सबके जिनगी देवे वारी है और तू वा माई की जान बचाई है।”