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V. Aaradhyaa

Children Stories

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V. Aaradhyaa

Children Stories

वीणा का तार होने लगी बेटियां

वीणा का तार होने लगी बेटियां

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घर का अस्तित्व, एक पहचान 

और मुस्कान होती हैं बेटियाँ !


सबका अभिमान,सम्मान

 और अरमान होती हैं बेटियाँ !


सुरों की सरगम और वीणा का

 बजता तार होती हैं बेटियाँ !


कल का भविष्य और सुनहरा

 वर्तमान होती हैं बेटियाँ !


सुबह का सूरज और

सावन की फुहार होती हैं बेटियाँ !


असीम प्यार दुलार और

घर का श्रृंगारी होती हैं बेटियाँ !


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