न जाने क्या- क्या खरी खोटी सुनातीं इस मिसेज़ वीर को। न जाने क्या समझती है अपने आप को ? न जाने क्या- क्या खरी खोटी सुनातीं इस मिसेज़ वीर को। न जाने क्या समझती है अपने आ...
कितनी बार असफलता झेलना बाकी है इस जीवन में, वो उदास स्वर में बोला कितनी बार असफलता झेलना बाकी है इस जीवन में, वो उदास स्वर में बोला
सुबह आप जल्दी में थे, मैंने आपसे कहा था ना कि आज खाना बाहर से मंगवा लेंगे सुबह आप जल्दी में थे, मैंने आपसे कहा था ना कि आज खाना बाहर से मंगवा लेंगे