snaya k

Others

4.6  

snaya k

Others

इंसाफ़

इंसाफ़

1 min
172


भगवान् के घर देर है अंधेर नहीं है वाली बात आज सच हो गई जब निर्भया के मुजरिमों को फांसी हो गई ।इंसाफ़ देर से ही सही लेकिन हुआ तो ।काफी दिन तक मुजरिमों को सुरक्षित रखते रहे मुजरिमों की प्रवृत्ति वाले लोग । आज सबकी मां ने खुशियां मनाई होंगी जब ऐसे बेटों को फांसी लगती हैं तब हर मां अपनी बेटी को मेहफूज समझती हैं।


Rate this content
Log in