खाना न खाओ तो, देखना एक दिन कोई नहीं पूछेगा खाने के लिए सच में कोई नहीं पूछता खाने के लिए, क्योंक... खाना न खाओ तो, देखना एक दिन कोई नहीं पूछेगा खाने के लिए सच में कोई नहीं पूछता...
किसी के जैसा मैं ना बन सकूं, मैं अपने जैसा हूं मेरी शख्सियत को बदलने की, न ज़िद करो पापा... किसी के जैसा मैं ना बन सकूं, मैं अपने जैसा हूं मेरी शख्सियत को बदलने की, न ज़िद ...
दिन रात एक कर अपना काम करता हूं। दिन रात एक कर अपना काम करता हूं।
मैं याद करूँ तो, रोता हूँ, कमरे में सबसे छुपकर के कोई दर्द अगर दे जाता है, माँ याद बहुत तू ... मैं याद करूँ तो, रोता हूँ, कमरे में सबसे छुपकर के कोई दर्द अगर दे जाता है,...
किस मोड़ पर आ गए मेरे मौला किस मोड़ पर आ गए मेरे मौला
बच्चों को डांटना तो एक गुनाह हो गया है। हमारा बच्चा बच्चा नहीं , जहाँपनाह हो गया है। बच्चों को डांटना तो एक गुनाह हो गया है। हमारा बच्चा बच्चा नहीं , जहाँ...