इतने सारे गुण हैं इसमें, फिर भी रहती मौन।। इतने सारे गुण हैं इसमें, फिर भी रहती मौन।।
धन की अभिलाषा में जीकर रिश्तों को खोता रहता है धन की अभिलाषा में जीकर रिश्तों को खोता रहता है