आपके काम की चतुराई बढ़ा रही सब की आस है। आपके काम की चतुराई बढ़ा रही सब की आस है।
लीन सदा प्रभु में ही रहते, गुरु चिंतन को हृदय से लगाते। अंतर्मुखी वृत्तियां बन जाती, लीन सदा प्रभु में ही रहते, गुरु चिंतन को हृदय से लगाते। अंतर्मुखी वृत्तियां ...