हिला न अस्त्तिव फिर भी जिसका ऐसी अडिग मेरी हिंदी। हिला न अस्त्तिव फिर भी जिसका ऐसी अडिग मेरी हिंदी।
वर्ना बिना रीढ़ की हड्डी के जीवन दिव्यांगता बन जाती है। वर्ना बिना रीढ़ की हड्डी के जीवन दिव्यांगता बन जाती है।