तुम राह चलते कभी मुड़कर देखना हमारा ही दिदार होगा तुम राह चलते कभी मुड़कर देखना हमारा ही दिदार होगा
नियति का अहर्निश एक ही अक्ष पर घूर्णन करेगा नियति का अहर्निश एक ही अक्ष पर घूर्णन करेगा