Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!
Unlock solutions to your love life challenges, from choosing the right partner to navigating deception and loneliness, with the book "Lust Love & Liberation ". Click here to get your copy!

Dharmendra Yadav

Romance Tragedy

4  

Dharmendra Yadav

Romance Tragedy

अब ना उमड़ ऐ बादल

अब ना उमड़ ऐ बादल

1 min
358


अब ना उमड़ ऐ बादल

मिलने वाला कोई नही है।

अब ना बरस ऐ बादल

भींगने वाला कोई नही है।


कुछ ही पल हुआ वो

मिलने आई थी।

आंखें भरीं थीं उसकी

वो थी कुछ मुरझाए सी।

कह रही थी ये पल फिर

आने वाला कभी नही है।

अब ना उमड़ ऐ बादल

मिलने वाला कोई नही है।

अब ना बरस ऐ बादल

भींगने वाला कोई नही है।


वो मूक बनी सिर्फ देख रही थी

शांत भरी निगाहों से।

धड़कन उसके कह रहे थे

कुछ ज़ोर ज़ोर की आहों से।

कह रही थी ये दिल्लगी हमारी

यहां समझने वाला कोई नही है।

अब ना उमड़ ऐ बादल

मिलने वाला कोई नही है।

अब ना बरस ऐ बादल

भींगने वाला कोई नही है।


हाथ पीले थे उसके

किसी और कि मेंहदी रचाई थी।

कह रही थी आख़िरी बार

मेरी बाहों में आई थी।

जो बीत रही है हमपर वो

समझने वाला कोई नही है।

अब ना उमड़ ऐ बादल

मिलने वाला कोई नही है।

अब ना बरस ऐ बादल

भींगने वाला कोई नही है।



Rate this content
Log in