जी लूँ उड़ते पंखो की जिंदगी, कल होगा ना ! जी लूँ उड़ते पंखो की जिंदगी, कल होगा ना !
कुछ लम्हें चुरा लूँ, मैं कल के लिए... कुछ लम्हें चुरा लूँ, मैं कल के लिए...
ये सारे हिमखंड पिघल कर बरबस हमें डुबाएंगे, डरता हूँ,हम ना संभले तो कल को क्या समझायेंगे ये सारे हिमखंड पिघल कर बरबस हमें डुबाएंगे, डरता हूँ,हम ना संभले तो कल को क्या स...